अमर शहीद श्रीदेव सुमन का अपमान कर रही है सरकार- शान्ति भट्ट
टिहरी गढ़वाल 26मई 2023। टिहरी जनक्रांति के नायक सत्य अहिंसा के पुजारी टिहरी राजशाही पर अंतिम कील ठोकने वाले अमरशहीद श्री देव सुमन जी की जयंती पर भाव पूर्ण स्मरण शत शत नमन।
19 अक्टूबर 2012 को उतराखड की कांग्रेस सरकार ने श्री देव सुमन जी के सम्मान में उन्ही के पैतृक शहर चम्बा के बादशाहीथौल में “श्री देव सुमन उतराखंड विश्वविद्यालय टिहरी गढ़वाल” की स्थापना की थीं “और तब इस राज्य स्तरीय विश्वविद्यालय की स्थापना का उद्देश्य यह था कि” पर्वतीय क्षेत्रों में उच्चस्तरीय शिक्षा की व्यापक पहुंच बनाना । ” किंतु जैसे ही प्रदेश में भाजपा की सरकार बनी तो इन महारथियों ने सबसे पहले ऋषिकेश के राजकीय महाविद्यालय जिसका नाम पंडित ललित मोहन शर्मा महाविद्यालय था, को श्री देव सुमन विश्व विद्यालय का परिसर बना दिया जिसका नाम अब “पंडित ललित मोहन शर्मा श्रीदेव सुमन उतराखंड विश्वविद्यालय परिसर ऋषिकेश है”और गोपेश्वर को परिसर बना दिया गया। किंतु टिहरी की थाती का यही अपराध था क्या? कि इस महान थाती ने श्री देव सुमन जी और वीर गब्बर सिंह जी जैसी हस्तियों को जना था।अर्थात बादशाही थौल वाला मात्र कार्यलय रह गया है, ऋषिकेश में कुलपति के आवास तक का उदघाटन मंत्री जी कर गए।
🔹 अच्छा होता कि श्रीदेव सुमन जी के गांव जौल में ही यह भव्य परिसर बनता।
🔹 किंतु उत्तराखंड के गठन से लेकर अब तक टिहरी ने एक भी लायक जनप्रतिनिधि नहीं दिया, जो यह सब करवा पाता, आज भले ही कृतज्ञ राज्य और टिहरी उत्तरकाशी जिले के लोग सुमन जी को याद कर रहे होगें, किंतु यह भी सत्य है, कि जिस विचाराधारा के लोगो ने सुमन जी की हत्या की थी, उसी विचारधारा के लोगो को वोट देकर लोक सभा और विधान सभा में पहुंचा रहे है, इसलिए यह लोकोक्ति आज सही है कि,,
“बोए पेड़ बबूल के
आम कहा से खाएं”