वनाग्नि को लेकर कोतवाली टिहरी में प्राथमिकी हुई पंजीकृत
नई टिहरी। फायर सीजन शुरू होते ही आग की घटनाएं भी बढ़ने लगी है। बीते दिनों लगातार प्रदेश से जंगलों में आग लगने की खबरें सामने आ रही है। प्रदेश के जनपद रुद्रप्रयाग, बागेश्वर, देहरादून, हरिद्वार सहित टिहरी आदि जनपदों में लगातार हो रही वनाग्नि के कारण जहां करोड़ों रुपए की वन संपदा जलकर खाक हुई है, वही वन्यजीवों को भी भारी नुकसान पहुँचा है। वनाग्नि की बढ़ती घटनाओं पर काबू पाने के लिए वन विभाग सहित प्रशासन द्वारा तमाम योजनाएं बनाई जा रही हैं।
उल्लेखनीय है कि वनाग्नि को गंभीरता से लेते हुए शासन के दिशा-निर्देश के क्रम में जिलाधिकारी टिहरी गढ़वाल श्रीमती ईवा आशीष श्रीवास्तव द्वारा विगत दिनों राजस्व प्रशासन, पुलिस प्रशासन एवं वन विभाग आदि के जिला स्तरीय अधिकारियों के साथ बैठक आयोजित कर आग लगने की सूचना प्राप्त होने पर आपसी समन्वय बनाकर कार्य करने, ग्राम पंचायत स्तर पर विजिट कर ग्रामीणों को आग लगने से होने वाले नुकसान के संबंध में जानकारी प्रदान कर जागरूक करने, वनाग्नि की घटनाओं के लिए दोषी व्यक्तियों पर प्राथमिकी दर्ज कर सख्त कार्यवाही किए जाने के निर्देश दिए गए थे।
*श्री नवनीत सिंह भुल्लर, वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक, जनपद टिहरी गढ़वाल द्वारा भी वनाग्नि की घटना से संबंधित शिकायत प्राप्त होने पर जिला पुलिस को तत्काल प्राथमिकी दर्ज करने के निर्देश जारी किए गए है।*
*इसी क्रम में टिहरी वन प्रभाग स्थित पोखाल रेंज क्षेत्रान्तर्गत ग्राम म्यून्डा के समीप अज्ञात ग्रामवासी द्वारा सिविल भूमि पर आग लगाने, जिसके अनियंत्रित होकर धारमंडल बीट के आरक्षित वन क्षेत्र में फैलने तथा वनों को क्षति होने के साथ-साथ वन्य जंतुओं की सुरक्षा को खतरा होने की एक लिखित शिकायत आज दिनांक 29.04.2022 को श्री प्यारेलाल उनियाल (वन बीट अधिकारी धारमंडल बीट) द्वारा कोतवाली नई टिहरी में दी गई। पुलिस द्वारा प्राप्त शिकायत के आधार पर कोतवाली नई टिहरी में अज्ञात के विरुद्ध भारतीय वन अधिनियम 1927 (संशोधित 2005) की धारा 26 (1)ख/33 में अभियोग पंजीकृत किया गया है।