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फरवरी में सूर्य, मंगल सहित 4 ग्रह करेंगे गोचर, इन राशियों का शुरू होगा गोल्डन टाइम, करियर में तरक्की के साथ कमाएंगे खूब सारा धन

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देहरादून 2 फरवरी। उत्तराखंड ज्योतिष रत्न आचार्य डॉक्टर चंडी प्रसाद घिल्डियाल विस्तृत व्याख्या करते हुए बताते हैं, कि वैदिक पंचांग के अनुसार फरवरी में बुध, मंगल, समेत 4 ग्रह राशि परिवर्तन करने जा रहे हैं, जिससे कुछ राशियों को फरवरी का महीना लाभकारी साबित हो सकता है।

जिसमें महीने की शुरुआत में 1 फरवरी को बुध मकर राशि में संचरण करेंगे। इसके बाद 5 फरवरी को मंगल मकर राशि में प्रवेश करेंगे। वहीं इसके बाद 8 फरवरी को बुध मकर राशि में अस्त हो जाएंगे। इसके बाद 11 फरवरी को कर्मफल दाता शनिदेव अपनी स्वराशि कुंभ राशि में अस्त होंगे।

मुख्यमंत्री द्वारा” ज्योतिष सूर्य “की उपाधि से सम्मानित डॉक्टर घिल्डियाल बताते हैं, कि इसके बाद 12 फरवरी को शुक्र के मकर राशि में गोचर करने से त्रिग्रही योग निर्माण होने जा रहा है। इसके बाद 12 फरवरी को सूर्य कुंभ राशि में गोचर करेंगे और 20 फरवरी को बुध कुंभ राशि में गोचर करेंगे। यद्यपि ग्रह गोचर का प्रभाव सभी राशियों के जातकों पर देखने को मिलेगा परंतु यदि जन्म कुंडली में ग्रहों की स्थिति ठीक-ठाक हो तो 3 राशियां ऐसी हैं, जिनकी इस महीने किस्मत चमक सकती है। साथ ही इनको करियर और कारोबार में तरक्की मिल सकती है।

मेष राशि

इस राशि के जातकों के लिए फरवरी का महीना लाभकारी साबित हो सकता है। क्योंकि इनकी गोचर कुंडली के दशम भाव पर आदित्य मंगल और बुधादित्य राजयोग बनेगा। जिससे आपको नौकरी और कारोबार में अच्छी सफलता मिलेगी।

वृष राशि

इस राशि के जातकों की भी किस्मत खुल सकती है, क्योंकि इस राशि के जातकों के नवम भाव में राजयोग का निर्माण हो रहा है ,यदि जन्म कुंडली में ठीक स्थिति हो तो अवश्य इनके बिगड़े हुए कार्य इस महीने सिद्ध हो जाएंगे। यदि राजनीति से इस राशि के जातक जुड़े हैं तो उनका राजनीतिक उच्च पद की प्राप्ति हो सकती है।

कर्क राशि

इस राशि के जातकों की भी इस महीने किस्मत चमक सकती है, यदि जन्म कुंडली में बृहस्पति और सूर्य की स्थिति ठीक हो तो इस समय इनके सप्तम भाव में ग्रहों की स्थिति बन रही है, यदि पत्नी नौकरी में है तो प्रमोशन की पूरी संभावना है।

मन्त्रों की ध्वनि को यंत्रों में परिवर्तित करने का विज्ञान विकसित करने वाले शिक्षा एवं संस्कृत शिक्षा विभाग के सहायक निदेशक आचार्य चंडी प्रसाद कहते हैं ,कि सभी लोगों को गोचर ग्रहों का विश्लेषण आवश्यक रूप से करा लेना चाहिए क्योंकि “ना जाने किस दौर में मिल जाएं भगवान”


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