प्लांट पैथोलॉजी और एंटोमोलॉजी में आणविक हस्तक्षेप पर संभागीय वेबिनार
देहरादून, 22 सितंबर 2022। वन संरक्षण प्रभाग, एफआरआई द्वारा 22 सितंबर, 2022 को ‘‘प्लांट पैथोलॉजी और एंटोमोलॉजी में आणविक हस्तक्षेप‘‘ पर संभागीय वेबिनार का आयोजन किया गया था। वेबिनार में 100 से अधिक प्रतिभागियों ने ऑनलाइन व ऑफलाइन भाग लिया।
मुख्य अतिथि डॉ रेनू सिंह, निदेशक, वन अनुसंधान संस्थान, देहरादून ने वन पारिस्थितिकी तंत्र में पेड़ो मे कीट और बीमारियो के प्रबंधन में डीएनए फिंगरप्रिंटिंग के भूमिका की आवश्यकता पर जोर दिया। डॉ. अमित पांडे, प्रभाग प्रमुख, वन संरक्षण प्रभाग ने प्रतिभागियों का स्वागत किया और पेड़ों के वायरल रोगों के प्रबंधन में आने वाली चुनौतियों के बारे मे बताया।
तकनीकी सत्र की शुरुआत डॉ. विनय के॰ कालिया, प्रधान वैज्ञानिक, आईएआरआई, नई दिल्ली द्वारा एंटोमोपैथोजेनिक बैक्टीरिया आधारित जैव कीटनाशकों में आणविक हस्तक्षेप पर प्रस्तुति के साथ हुई। उन्होंने कृषि फसलों और वन वृक्षों में कीटों की समस्या, उनसे निपटने के लिए उपलब्ध विकल्प, सिंथेटिक कीटनाशकों की विफलता और कीट नियंत्रण में एंटोमोपैथोजेनिक बैक्टीरिया के आइसोलेट्स की क्षमता के बारे में बताया। इस मौके पर डॉ एम गुरिवी रेड्डी, सहायक प्रोफेसर, ए.एन.जी.आर.ए.यू, तिरुपति, डॉ. श्रुति गोदारा, सुश्री जी एस उमा आदि ने भी अपने विचार व्यक्त किए।
अंत में डॉ. रंजीत सिंह- वैज्ञानिक, एफ॰आर॰आई॰ द्वारा धन्यवाद प्रस्ताव के साथ वेबिनार का समापन किया गया। सेमिनार में विभिन्न वरिष्ठ वैज्ञानिक जैसे डॉ. ए.पी. सिंह, डॉ. विपिन प्रकाश, डॉ. के.पी. सिंह, डॉ अरविंद कुमार, डॉ शैलेश पांडे और श्रीमती रंजना जुवाठा ने भी भाग लिया।