देश-दुनियाविविध न्यूज़

अंधकार से प्रकाश की ओर ले जाए वह गुरु ही होता है– रसिक महाराज

Please click to share News

खबर को सुनें

चण्डीगढ़। प्राचीन शिव मंदिर सैक्टर 40 बी में नृसिंह भक्ति संस्थान के तत्वावधान में आयोजित कार्यक्रम में गुरु पूर्णिमा पर विशेष प्रवचन में नृसिंह पीठाधीश्वर स्वामी रसिक महाराज ने कहा कि जो अज्ञानता से दूर कर ज्ञान की ओर ले जाने वाला गुरु होता है। अंधकार से प्रकाश की ओर ले जाए वह गुरु ही होता है हैं। भारतीय संस्कृति में गुरु – शिष्य परंपरा को निभाने वाले सभी धर्ममतों में गुरु पूर्णिमा के दिन गुरु के प्रति कृतज्ञता ज्ञापित किया जाता है।

संत रसिक महाराज ने कहा कि मोक्ष मंजिल की यात्रा प्रारंभ करने वाले साधक के जीवन में गुरु होने बहुत जरूरी है। गुरु से ही जीवन शरू होता है। जन्म देने वाली मां होती है, और जीवन देने वाले गुरु होते हैं। श्रद्धावान लभते ज्ञानं यानि श्रद्धा हो तो ज्ञान फ़ौरन प्रवेश कर लेता है। साध्वी ने चार प्रकार के गुरु का वर्णन बताया। पहला- गुरु दीपक की तरह होते हैं। उनके स्वयं का जीवन रोशनीमय होता है, और वे दूसरों के जीवन में रोशनी प्रज्वल्लित करते है। दूसरा-गुरु पारस की तरह होते हैं। तीसरा-गुरु भंवर की तरह होते हैं। जिस प्रकार भंवर एक लट को अपने स्वरूप बना लेता है, ठीक उसी प्रकार गुरु भी अपने शिष्य को अपने जैसा बना लेते हैं। चौथा-गुरु चंदन की तरह होते है। गुरु जैसे पारसमणि का स्पर्श मिल जाये तो लोहा भी सोना बन जाता है।


Please click to share News

Related Articles

Back to top button
error: Content is protected !!